मुंबई |
रेवेन्यू के मामले में देश की सबसे बड़ी ऑटो कंपनी टाटा मोटर्स ने अपने सभी एंप्लॉयीज के पदनाम को समाप्त करने का ऐलान किया है। ऐसा कंपनी के अंदर रचनात्मक माहौल पैदा करने और टीम वर्क को बढ़ावा देने के लिए किया गया है। कंपना का कहना है कि इससे समानता को बढ़ावा मिलेगा। कंपनी के द्वारा समाप्त किए गए पदों में जनरल मैनेजर, सीनियर जनरल मैनेजर, डेप्युटी जनरल मैनेजर, वाइस प्रेजिडेंट, सीनियर वाइस प्रेजिडेंट जैसे महत्वपूर्ण पद भी हैं। बुधवार को जारी एक सर्कुलर को माध्यम से टाटा मोटर्स ने अपने कर्मचारियों को यह जानकारी दी है।
कंपनी ने एंप्लॉयीज को जारी किए गए सर्कुलर में कहा कि उससे वह डेजिगनेशंस और पदानुक्रम के माइंडसेट से मुक्त हो सकेंगे। कंपनी के एक सीनियर एग्जिक्यूटिव ने कहा कि इससे टाटा मोटर्स के 10,000 एंप्लॉयीज प्रभावित होंगे। नई व्यवस्था के तहत टीम के सभी मैनेजर्स को ‘हेड’ का दर्जा दिया जाएगा। उनके नाम के बाद उनके विभाग का नाम दिया जाएगा यानी मैनेजर्स अब एक तरह से टीम हेड कहलाएंगे। इसके अलावा सबसे निचले स्तर पर काम करने वाले एंप्लॉयीज के नाम के साथ उनका विभाग जुड़ा होगा।
टाटा मोटर्स ही नहीं बीते कुछ सालों में कई ऐसी कंपनियां हैं, जिन्होंने वरिष्ठता क्रम को 14 लेवल्स की बजाय 5 लेवल्स तक ही सीमित कर दिया है। टाटा मोटर्स में चीफ एचआर गजेंद्र एस. चंदेल ने कहा, ‘एंप्लॉयीज से ज्यादा संख्या पदों की हो चुकी थी। इसलिए फंक्शन की इस विसंगति को हमने समाप्त करने का फैसला लिया।’ कंपनी को उम्मीद है कि इस फैसले से उसे कार्य संस्कृति सुधारने में मदद मिल सकेगी।