भोपाल।
छात्रवृत्ति सहित तमाम सरकारी सुविधाओं के लिए समग्र आईडी अनिवार्य करने के बाद गड़बड़ियां उजागर हो रही हैं। हाल ही में भोपाल सहित प्रदेश के 17 जिलों में प्रशासनिक और आर्थिक फायदा लेने के लिए ज्यादा विद्यार्थियों के एडमिशन दिखाए गए। यह खुलासा तब हुआ, जब सभी विद्यार्थियों की समग्र आईडी बनवाई गई। प्रथम दृष्टया 254 हायर सेकंडरी स्कूलों में इस तरह की गड़बड़ी मिली है। लिहाजा, इन स्कूलों के प्राचार्यों को नोटिस देकर वास्तविकता बताने को कहा गया है।
स्कूल शिक्षा विभाग अभी ‘मिल बांचें” कार्यक्रम के फीडबैक के आधार पर स्कूलों की जांच करने की तैयारी कर ही रहा था कि समग्र आईडी की अनिवार्यता में गड़बड़ी उजागर हो गई। बताया जा रहा है कि शिक्षक और मैदानी अफसरों की मिलीभगत से सरकारी स्कूलों में ज्यादा एडमिशन दर्शाए जा रहे हैं, जबकि विद्यार्थियों की उपस्थिति 50 फीसदी से कम है।
मामला सामने आने के बाद ऐसे स्कूलों के प्राचार्यों को नोटिस जारी किए गए हैं, जहां एडमिशन की तुलना में 15 फीसदी से ज्यादा विद्यार्थी गायब हैं। सभी संबंधित स्कूल प्राचार्यों से 15 दिन में जवाब मांगा गया है। जवाब से संतुष्ट न होने पर विभाग तीसरे पक्ष से जांच करा सकता है।