बिलासपुर।
मुंगेली में तैनात दिव्यांग डिप्टी कलेक्टर अनुराधा अग्रवाल फिल्म स्टार अमिताभ बच्चन के बहुचर्चित शो- कौन बनेगा करोड़पति (केबीसी) में शरीक होकर लौट आईं, तब जाकर उनको पता चला कि शासन ने इसके लिए अनुमति ही नहीं दी थी। यह एपिसोड 20 सितंबर को प्रसारित किया जाएगा।
रविवार को सामान्य प्रशासन विभाग का वह पत्र प्रकाश में आया, जिसमें लिखा है कि अनुराधा को केबीसी में भाग लेने की अनुमति नहीं दी जा सकती। अनुराधा का कहना है- मैंने कलेक्टर और संभागायुक्त के जरिए राज्य सरकार से अनुमति मांगी थी। समय पर पत्र नहीं मिला तो कलेक्टर से छुट्टी लेकर गई।
बता दें कि अगस्त के पहले सप्ताह में कौन बनेगा करोड़पति शो में शामिल होने के लिए मुंगेली में पदस्थ डिप्टी कलेक्टर अनुराधा अग्रवाल को पत्र मिला। प्रायोजकों ने उनसे मोबाइल पर भी बात की। केबीसी में शामिल होने के पीछे अनुराधा की मंशा बीमार भाई के इलाज की थी।
अनुराधा के भाई राजेश अग्रवाल दो महीने से कोलकाता के डीएस राय अस्पताल में इलाज करा रहे हैं। उनकी दोनों किडनी फेल हैं। डॉक्टरों ने ट्रांसप्लांट की सलाह दी है। इसमें 14-15 लाख रुपए खर्च का अनुमान है। उधर, अनुराधा ने राज्य शासन से केबीसी में शामिल होने की अनुमति मांगी थी, जो नहीं दी गई। सामान्य प्रशासन विभाग के उप सचिव एमआर ठाकुर ने कलेक्टर मुंगेली को पत्र लिखकर उन्हें केबीसी में शामिल होने की अनुमति देने से इनकार कर दिया।
इसकी जानकारी अनुराधा को तब नहीं हुई। वह कलेक्टर से छुट्टी लेकर मुंबई में कार्यक्रम में शरीक हुईं और 15 लाख रुपए जीत लिए। इससे वह भाई का इलाज कराएंगी। सामान्य प्रशासन विभाग के अफसरों का कहना है कि सरकारी सेवा में रहते हुए लाभ अर्जन के लिए कोई दूसरा काम नहीं किया जा सकता। इसीलिए इजाजत नहीं दी गई।