नई दिल्ली |
भारत के नियंत्रक व महालेखा परीक्षक (कैग) ने देश की महानगरी और आर्थिक राजधानी मुबंई की सुरक्षा पर प्रश्न उठाते हुए खुलासा किया है कि देश के बड़े मेट्रो शहर की सुरक्षा भगवान के भरोसे है। हथियारों के अलावा महाराष्ट्र पुलिस तकनीकी कर्मचारियों की कमी से भी जूझ रही है। जिसके चलते इस साल जनवरी तक 34,171 यानी लगभग 18 फीसदी नमूनों की जांच तक नहीं की जा सकी।
आतंकी हमले के बाद भी पुलिस ने नहीं लिया कोई सबक
कैग की रिपोर्ट के अनुसार केंद्र सरकार ने पुलिस आधुनिकीकरण के लिए करोड़ों रुपए दिए लेकिन, रकम खर्च नहीं किया गया। इससे केंद्र सरकार ने 265 करोड़ रुपए की निधि रोक दी। मुंबई पर हुए 26/11 के आतंकी हमले के बाद मुबंई और महाराष्ट्र पुलिस ने कोई सबक नहीं लिया। रिपोर्ट के अनुसार, हथियारों के अलावा महाराष्ट्र पुलिस तकनीकी कर्मचारियों की कमी से भी जूझ रही है। जिसके चलते इस साल जनवरी तक 34,171 यानी लगभग 18 फीसदी नमूनों की जांच तक नहीं की जा सकी।