नई दिल्ली |
बिहार में एनडीए के विस्तार के बाद भारतीय जनता पार्टी का बेड़ा साउथ की तरफ कूच कर गया है। इसकी शुरुआत तमिलनाडु से होने जा रही है। यहां के सत्ताधारी दल एआईएडीएमके के बीजेपी से हाथ मिलाने की खबरें आ रही हैं। इस बीच तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ईपीएस पलानीसामी ने मंगलवार को पार्टी विधायकों की बैठक बुलाई है।
सूत्रों की मानें तो दूसरी तरफ बीजेपी के वरिष्ठ नेता और टॉप केंद्रीय मंत्री इस सिलसिले में एआईडीएमके नेताओं से बातचीत कर रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक एआईएडीएमके को एनडीए का हिस्सा बनाने पर विचार चल रहा है।
दरअसल, बीजेपी दक्षिण भारत की सत्ता से बाहर है। उत्तर और मध्य भारत के राज्यों में परचम लहराने के बाद अब बीजेपी का टारगेट साउथ इंडिया है। ऐसे में तमिलनाडु उसके लिए सबसे बेहतर और आसान लक्ष्य नजर आ रहा है।
पूर्व मुख्यमंत्री और एआईएडीएमके महासचिव जे. जयललिता की मौत के बाद तमिलनाडु में सत्ता संघर्ष चल रहा है। पार्टी दो धड़ों में बंट चुकी है। शशिकला के जेल जाने के बाद पलानीसामी को सीएम बनाया गया है। जबकि पन्नीरसेल्वम पहले ही बगावत के सुर आम कर चुके हैं।
ऐसे में बीजेपी एआईडीएमके के जरिए दक्षिण में दखल करने की फिराक में है। बताया जा रहा है कि मोदी मंत्रिमंडल का विस्तार भी इसीलिए नहीं किया गया है। सूत्रों के मुताबिक अगस्त में मोदी कैबिनेट का विस्तार संभव है, जिसमें एआईएडीएमके को शामिल किया जा सकता है।
एआईएडीएमके को साथ लाने की वजह सदन में उसकी ताकत भी है। एआईडीएमके पहले भी 1999 में अटल बिहारी वाजपेयी सरकार का हिस्सा रह चुकी है।