पटना |
बिहार मे महागठबंधन पर छाए संकट के बादल अभी तक मंडरा रहे हैं। सीएम नीतीश कुमार ने भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद भी उप-मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव पर अब तक कोई कार्रवाई नहीं की है। नीतीश के लिए यह स्थिति बहुत असमनंजस भरी और राजनीतिक रूप से असहज करने वाली है। बुधवार को यह स्थिति और भी खराब होने जा रही है क्योंकि जेडीयू और आरजेडी के विधायक अलग-अलग बैठक करने वाले हैं।
जेडीयू से जुड़े एक सूत्र ने बताया, ‘नीतीश कुमार भ्रष्टाचार मुक्त छवि को लेकर बेहद सजग हैं। तेजस्वी यादव ने अभी तक करोड़ों की अपनी बेनामी संपत्ति के सोर्स का खुलासा नहीं किया है। इस संबंध में उनकी तरफ से अब तक संतोषजनक सफाई भी नहीं आई है। ऐसे में पूरी संभावना है कि विधानसभा में बीजेपी इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाएगी और तेजस्वी के इस्तीफे की भी मांग करेगी। नीतीश कुमार किसी भी सूरत में भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे अपने मंत्री का बचाव कर सकने की हालत में नहीं हैं।’
जेडीयू महासचिव केसी त्यागी का कहना है, ‘अपने लंबे राजनीतिक करियर में नीतीश जी ने कभी इस तरह का राजनीतिक संकट नहीं झेला है। उनकी बेदाग छवि पर सवाल उठाए जा रहे हैं।’ हमारे सहयोगी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया को त्यागी ने बताया कि अपनी स्वच्छ छवि को बनाए रखने के लिए नीतीश जी पटना में कुछ सख्त कदम उठा सकते हैं।